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Pashudhan Bima Yojana Kya Hai?
पशुधन बीमा योजना: जैसा कि दोस्तों आप जानते हैं, हम आपके लिए सरकारी योजनाओं से जुड़ी हुई नई नई जानकारी लेकर आते रहते हैं, दोस्तों हमारे देश में सरकारी योजनाओं का अत्यधिक महत्व रहा है। सरकारी योजनाओं के अंतर्गत देश के पिछड़े वर्ग बेरोजगारी कृषि के क्षेत्र में परिवर्तन देखने को मिला है। इन सरकारी योजनाओं के अंतर्गत हमारे देश में ग्रामीण तथा शहरी इलाकों में विकास हुआ है। आज एक नई योजना हम आपके लिए लेकर आए हैं जिसका नाम है।
पशुधन बीमा योजना इस योजना को धरातल पर लाने का मुख्य उद्देश्य उन किसानों से है जो खेती के साथ-साथ पशुपालन कार्य करते हैं दोस्तों पशु पालन करना किसान का अभिन्न अंग है। पशुधन बीमा योजना केंद्र सरकार की योजना है। पशुधन बीमा योजना का उद्देस्य केंद्र सरकार द्वारा उन दुधारू पशु तथा मांस वाले पशुओं का बीमा करने से है, किसी कारण पशुओं की अचनाक मृत्यु हो जाती है, तो बीमा कंपनी मुआवजा प्रदान करेगी। मुआवजे की राशि 15 दिन के अंदर बीमा कंपनी को प्रदान करनी होगी। बीमा कराने के लिए पशु के मालिक को प्रीमियम की राशि देनी होगी,प्रीमियम की राशि में सरकार 50 % से 70 % तक छूट का योगदान देगी इस योजना द्वारा पशु का 1 से 3 साल तक का बीमा होगा।
How many Animals will get the benefit of the scheme
हमारा देश एक कृषि प्रधान देश है,इस देश में कृषि के साथ पशुपालन का कार्य किया जाता है, पशुपालक पशुओं को पाल कर तथा उनसे प्राप्त दूध एवं मास को बेचकर अपनी जीविका चलाते हैं, केंद्र सरकार ने पशुपालकों को पशुधन बीमा योजना के द्वारा आय में वृद्धि करने का संकल्प लिया है, इस योजना के अंतर्गत पशुपालक को पांच पशुओं तक का सरकारी बीमा कराने की व्यवस्था है, अर्थात यदि पशु पालक अपने 5 पशु तक का सरकारी बीमा करा सकता है। इस योजना के अंतर्गत बीमा प्रीमियम की राशि का 50 % से 70% हिस्सा सरकार भुगतान करेगी,बीमा होने के बाद यदि किसी कारणवश पशु की मृत्यु हो जाती है तो बीमा कंपनी पशु की कीमत का भुगतान पशुपाल कों करेगी।किस को कितना लाभ मिलेगा निचे दिया गया है।
एपीएल श्रेणी के पशुपालकों को 50% सब्सिडी प्रदान की मिलेगी, बीपीएल, अनुसूचित जाति अनुसूचित जनजाति के पशुपालकों को 70% सब्सिडी केंद्र सरकार द्वारा दी जाती है।
- एपीएल श्रेणी के पशुपालकों को प्रीमियम का 50% भुगतान करना होता है।
- बीपीएल श्रेणी के पशुपालकों को प्रीमियम का 30% भुगतान करना होता है।
- अनुसूचित जाति श्रेणी के पशुपालकों को प्रीमियम का 30% भुगतान करना होता है।
- अनुसूचित जनजाति के पशुपालकों को प्रीमियम का 30% भुगतान करना होता है।
- बीमा की अबधि 1 वर्ष से तीन वर्ष तक की होती है।
How to apply for Pashudhan Bima Yojana
पशुधन बीमा योजना में आवेदन करने के लिए आपको सरकारी पशु चिकित्सालय जाना होगा वह आपको अपने पशुओं की जानकारी देनी होती है तथा सरकारी पशु चिकित्सालय में संबंधित अधिकारी से पशुधन बीमा योजना का फॉर्म लेना होता है तथा अपने पशुओं की जानकारी देनी होती है कि हम कितने पशुओं का बीमा कर रहे हैं, फिर आपको फॉर्म फार्म भरना होता है फार्म भरने के बाद पशु चिकित्सालय से डॉक्टर आपके घर या वह स्थान जहां आप के पशु हैं,पशुओं का स्वास्थ्य का परीक्षण करता है।
स्वास्थ्य परीक्षण करने के बाद डॉक्टर फॉर्म में पशु की स्थिति का विवरण दर्ज करता है; इसके बाद बीमा कंपनी के एजेंट के द्वारा आपके पशुओं का बीमा कर दिया जाता है,तथा पशु के कान पर टेग लगा देता है जिससे पता चल जाता है किस पशु का बीमा है, पशु की कीमत बाजार के आधार पर बीमा कंपनी निर्धारित करती है बीमा होने के पश्चात यदि आपका पशु किसी बीमारी या किसी कारणवश पशु की मृत्यु हो जाती है तो बीमा कम्पनी पशु की कीमत के आधार पर इंश्योरेंस क्लेम देती है।
Benefits of Pashudhan Bima Yojana
- दोस्तों पशु पालक पशुओं को दिन रात मेहनत करके पालता है,
- उत्पादित दूध एवं को बेचकर अपनी जीविका चलाता है
- बरसात बाढ़ में बह जाने के कारण पशुपालन को बहुत नुकसान होता था क्योंकि उसका पशु बाढ़ में बह जाते थे और पशुओं की मृत्यु हो जाती थी जिसके बदले में पशुपालक को नुकसान के सिवा कुछ नहीं मिलता था।
- अनेकों बीमारियों के कारण पशुओं की मौत हो जाती थी जैसे खुर पका मुंह पका पेट फूलना आधी बीमारी के कारण पशुओं की मृत्यु हो जाती थी जिसके बदले पशुपालक को कुछ नहीं मिलता था इस योजना के अंतर्गत पशु की मृत्यु होने के के कारण इंश्योरेंस कंपनी पशुओं की कीमत का भुगतान पशुपालक को करती है, जिससे पशुपालक को कोई ज्यादा नुकसान नहीं होता तथा पशुपालक इस योजना के अंतर्गत आत्मनिर्भर हुआ है।
- पशु पालक इस योजना के अंतर्गत अपने पांच पशुओं का बीमा कर सकता है किसी भयंकर बीमारी के कारण अगर उसके किसी भी पशु की मृत्यु हो जाती है तो बीमा कंपनी उसके पशु की कीमत का भुगतान नियमानुसार पशुपालक को करेगी
- इस योजना के अंतर्गत पशुपालन सीमांत किसान जंगलों में जीवन निर्वाह कर रहे पशुपालन को लाभ मिला है।
- कृषि के साथ-साथ किसान भी पशुपालन का कार्य करता है इस योजना से देश के किसान को ही बहुत लाभ मिला है।
- इस योजना का लाभ सबसे ज्यादा छोटे पशुपालक तथा सीमांत किसानों को हुआ है क्योंकि छोटे पशुपालक कम पशुओं को पालते हैं क्योंकि उनके पास ज्यादा पशु खरीदने के लिए पूंजी नहीं होती है और यदि किसी कारणवश उनके पशुओं की मृत्यु हो जाती है तो उनके जीवन शैली पर उसका बहुत बुरा असर पड़ता है, इसीलिए इस योजना के अंतर्गत छोटे किसानों का तथा छोटे पशुपालकों को अत्यधिक लाभ हुआ है।
- डेयरी फार्मिंग करने वाले किसानों को भी इस योजना से जोड़ा गया है तथा इस योजना का लाभ मिला है।
Eligibility of Pashudhan Bima Yojana
पशुपालक,सीमांत किसान,डेरी फार्म,आदि सभी दुधारू तथा मांस उत्पादन करने वाले पशु जैसे कि गाय, भैंस, बकरी, भेड़, /cow, buffalo, goat, sheep आदि इस योजना के पात्र हैं।एक पशु का बीमा उस अबधि में दो बार नहीं हो सकता।
How many years is the policy in Pashu Dhan Insurance Scheme?
पशुधन बीमा योजना में कितने साल की पॉलिसी होती है
पशुधन बीमा योजना के अंतर्गत पशुपालक को निर्णय लेना होता है पशुपालक चाहे तो 3 साल की पॉलिसी ले सकता है । या पशुपालक 1 साल की पॉलिसी भी ले सकता है। पशु धन बीमा योजना के अंतर्गत एक से तीन साल तक की बीमा पॉलिसी ले सकते है।
Conclusion
जैसा कि दोस्तों आप जानते हैं पशुधन बीमा योजना देश के किसान सीमांत किसान डेयरी फार्मिंग तथा पशुपालकों के लिए महत्वपूर्ण योजना है हमने आपको इस आर्टिकल के माध्यम से पशुधन बीमा योजना की पूरी जानकारी दे दी है आशा करते हैं दोस्तों आपको हमारे द्वारा दी गई जानकारी समझ में आ गई होगी अगर आपके मन में इस योजना के संबंध में कोई प्रश्न हो तो आप कमेंट सेक्शन में जाकर कमेंट कर सकते हैं। जय हिंद
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